जरूरतों और आय के संतुलन से ही दूर होगी आर्थिक असमानता- कक्कड़
लाडनूँ, 2 अक्टूबर 2018। महात्मा गांधी के 150वें जयंती वर्ष के अवसर पर जैन विश्वभारती संस्थान (मान्य विश्वविद्यालय) के तत्वावधान में विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। संस्थान के अहिंसा एवं शांति विभाग के तत्वावधान में यहां आचार्य महाप्रज्ञ-महाश्रमण आॅडिटोरियम में आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि कुलसचिव विनोद कुमार कक्कड़ ने आवश्यकता और आय के संतुलन को आवश्यक बताते हुये कहा कि महात्मा गांधी का यह मुख्य सिद्धांत था कि अपनी जरूरत के लिये आमदनी करनी चाहिये, लेकिन अपनी आमदनी के लिये जरूरतों को बढाना नहीं चाहिये। उन्होंने देश की आबादी के एक प्रतिशत के पास आय का एकत्रिकरण और 75 प्रतिशत आबादी की आवश्यकतायें तक पूरी नहीं हो पाने को अनुचित व असंतुलन बताते हुये कहा कि इससे जो आम नागरिक की प्रति व्यक्ति आय का औसत निकाला जाता है, वह कभी सही नहीं कहा जा सकता है। महात्मा गांधी ने इसी कारण जरूरतों के हिसाब से आय को बढाने की आवश्यकता बताई, ताकि आय का वितरण आम आदमी तक पहुंचना समान रूप से संभव हो सके। कक्कड़ ने यह भी बताया कि महात्मा गांधी ने अहम के त्याग को महत्व दिया था, क्योंकि अहम के कारण ही हिंसा का जन्म होता है। अहम व्यक्तियों को परस्पर एक दूसरे से दूर करता है और हिंसा का पैदा करता है। कोई भी व्यक्ति कोई पद ग्रहण करता है तो उसे अहम को छोड़ कर पद की गरिमा को बनाये रखना चाहिये। इससे छोटी-मोटी समस्यायें तो स्वतः ही दूर हो जाती है।
गांधी प्रतिपादित मूल्यों को अपनाने की जरूरत
कार्यक्रम में दूरस्थ शिक्षा निदेशक प्रो. आनन्द प्रकाश त्रिपाठी ने महात्मा गांधी के जीवन के अनेक अछूते प्रसंगों का उल्लेख किया तथा उनके द्वारा प्रतिपादित जीवन मूल्यों को अपनाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि आत भारत सरकार ने स्वच्छ भारत का नारा देकर महात्मा गांधी के आदर्शों को क्रियान्वित करना शुरू किया है और इस मुहिम में पूरा देश खुले में शौच मुक्त होने जा रहा है और पूर्ण स्वच्छता की ओर संकल्पबद्ध होकर आगे बढ रहे हैं। शोध निदेशक प्रो. अनिल धर ने महात्मा गांधी के बताये मूल्यों पर चलने की आवश्यकता बताई। शिक्षा विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. बीएल जैन ने बताया कि गांधी ने सर्वांगीण शिक्षा पर जोर दिया था तथा बच्चों के सर्वांगीण विकास की आवश्यकता बताई। योग एवं जीवन विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ. प्रद्युम्न सिंह शेखावत ने गांधी के आदर्शाें पर चलते हुये दलितों से दूरियां घटाने पर बल दिया। अंग्रेजी विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ. गोविन्द सारस्वत ने गांधी के सत्य व अहिंसा के रास्ते में समस्त समस्याओं के समाधान का मार्ग बताया और वंचितों के उत्थान पर ध्यान देने की जरूरत बताई। कार्यक्रम में मुमुक्षु सारिका, छात्र पारस जैन व मेहनाज बानो ने भी अपने विचार प्रकट किये। डाॅ. प्रगति भटनागर ने अंत में आभार ज्ञापित किया। कार्यक्रम में प्रो. रेखा तिवाड़ी, आरके जैन, डाॅ. सरोज राय, डाॅ. मनीष भटनागर, डाॅ. अमिता जैन, डाॅ. सत्यनारायण भारद्वाज, डाॅ. योगेश जैन, डाॅ. विकास शर्मा, डाॅ. गिरीराज भोजक, डाॅ. भाबाग्रही प्रधान, डाॅ. अशेाक भास्कर, डाॅ. पुष्पा मिश्रा, अभिषेक चारण, सोनिका जैन आदि उपस्थित थे। कार्यक्रम का संचालन अहिंसा एवं शांति विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ. जुगलकिशोर दाधीच ने किया।
रैली निकाल कर दिया जागरूकता का संदेश
इस अवसर पर राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) की दोनों इकाइयों की स्वयंसेविकाओं ने जन-जागरूकता रैली का आयेाजन किया। रैली में छात्राओं ने विविध नारे लिखी तख्तियां लेकर एवं नारे लगाते हुये महात्मा गांधी के संदेशों को आम जन तक पहुंचाया। रैली को मंगलवार को प्रातः संस्थान परिसर से आचार्य कालू कन्या महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. आनन्द प्रकाश त्रिपाठी ने हरी झंडी दिखा कर रवाना किया। इस अवसर पर प्रो. अनिल धर, डाॅ. प्रद्युम्न सिंह शेखावत, डाॅ. जुगल किशोर दाधीच, डाॅ. प्रगति भटनागर, सोनिका जैन आदि उपस्थित रही। एनएसएस ने गत 15 सिसतम्बर से एक पखवाड़े का आयेाजन करके विविध कार्यक्रमों व प्रतियागिताओं का आयोजन किया। इनमें सम्पूर्ण परिसर की साफ-सफाई, स्वच्छमा से सम्बद्ध प्रतियागिताओं में निबंध लेखन, गायन व पोस्टर प्रतियोगिता शामिल थी। मंगलवार को गांधी जयंती के अवसर पर विजेताओं को पुरस्कृत किया गया। निबंध प्रतियोगिता में प्रथम सरिता शर्मा, द्वितीय महिमा प्रजापत व तृतीय नर्मदा धेतरवाल रही। पोस्टर प्रतियोगिता में मनोज दुसाद प्रथम एवं बीनू द्वितीय रही। गायन में अर्चना शर्मा प्रथम, निलोफर व प्रियंका सोनी द्वितीय तथा सरिता शर्मा तृतीय रही। एनएसएस की समस्त छात्राओं को स्वच्छता की डाॅक्यमेंटरी फिल्म दिखाई गई। मंगलवार को समस्त विजेताओं को पुरस्कार प्रदान किये गये। इस पुरस्कार वितरण समारोह की अध्यक्षता आचार्य कालू कन्या महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. आनन्द प्रकाश त्रिपाठी ने की। मुख्य अतिथि जगदीश यायावर थे। कार्यक्रम का संचालन डाॅ. जुगल किशोर दाधीच व डाॅ. प्रगति भटनागर ने किया।
प्रतियेागिताओं का आयोजन
संस्थान में महात्मा गांधी जयंती के 150वें जयंती उत्सव के तत्वावधान में विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। इनमें भजन प्रतियोगिता में 28 प्रतिभागी छात्राओं ने भाग लिया, जिनमें से प्रथम स्थान पर पूजा कुमारी रही। द्वितीय स्थान पर मुमुक्षु आरती व तृतीय स्थान पर मुमुक्षु सारिका रही। नाटक प्रतियोगिता में सम्भागी रहे 20 प्रतिभागियों में से रश्मि एवं समूह ने प्रथम स्थान और नन्दिनी एवं समूह ने द्वितीय स्थान प्राप्त किया। इन दोनों प्रतियोगिताओं में निर्णाक डाॅ. पुष्पा मिश्रा व डाॅ. गिरधारीलाल शर्मा थे। पोस्टर प्रतियोगिता में संस्थान की कुल 23 विद्यार्थी प्रतिभागी रही, जिनमें से प्रथम स्थान पर मनोज, द्वितीय किरण एवं तृतीय रीतिका दाधीच व प्रीति फुलफगर रही। श्लोगन प्रतियोगिता में 13 प्रतिभागियों में से पहले स्थान पर यास्मीन बानो, द्वितीय पारस जैन व तृतीय स्थान पर रूचिका दाधीच व रीतिका दाधीच रही। इन प्रतियोगिताओं में निर्णायक के रूप में अपूर्वा व मुकुल सारस्वत रही।
छात्राओं व शिक्षकों ने मिल कर की सफाई
संस्थान के शिक्षा विभाग के तत्वावधान में स्वच्छता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इसमें विभाग के विभिन्न परिसरों की साफ-सफाई का विभाग के शिक्षकों डाॅ. मनीष भटनागर, डाॅ. भाबाग्रही प्रधान, डाॅ. विष्णु कुमार, डाॅ. सरोज राय, डाॅ. गिरीराज भोजक, डाॅ. गिरधारी लाल शर्मा, दिव्या राठौड़, मुकुल सारस्वत आदि ने छात्राओं के साथ मिलकर सफाई-कार्य में अपना श्रमदान किया।
No comments:
Post a Comment